आर्थिक मामलों की मंत्रिमण्‍डलीय समिति (सीसीईए)

मंत्रिमंडल ने हिंदुस्‍तान ऑर्गेनिक केमिकल्‍स लिमिटेड की पुनर्गठन योजना को मंजूरी दी

प्रविष्टि तिथि: 17 MAY 2017 5:39PM by PIB Delhi

प्रधानमंत्री श्री नरेन्‍द्र मोदी की अध्‍यक्षता में आर्थिक मामलों की मंत्रिमंडलीय समिति ने रसायन एवं पेट्रोकेमिकल्‍स विभाग के तहत बीमारू एवं घाटे में चल रहे केंद्रीय सार्वजनिक उपक्रम (सीपीएसई) हिंदुस्‍तान ऑर्गेनिक केमिकल्‍स लिमिटेड (एचओसीएल) के लिए एक पुनर्गठन योजना को मंजूरी दी है। कंपनी काी इकाइयां महाराष्‍ट्र के रसायनी और केरल के कोच्चि में हैं और 2011-12 से लगातार नकद घाटा दर्ज करने के कारण वह कार्यशील पूंजी की जबरदस्‍त किल्‍लत से जूझ रही है। पिछले कुछ वर्षों के दौरान उसके अधिकतर संयंत्र बंद हो चुके हैं। वह 2015 से ही अपने कर्मचारियों को नियमित तौर पर वेतन एवं वैधानिक बकाये का भुगतान नहीं कर पा रही है।

 पुनर्गठन:

पुनर्गठन योजना के तहत एचओसीएल की रसायनी इकाई के डाई-नाइट्रोजन टेट्रॉक्‍साइड (N2O4) संयंत्र के अलावा सभी अव्‍यवहार्य संयंत्रों का परिचालन बंद करने का प्रस्‍ताव है। डाई-नाइट्रोजन टेट्रॉक्‍साइड (N2O4) संयंत्र को करीब 20 एकड़ भूमि एवं उससे संबंद्ध कर्मचारियों के साथ 'जैसा है, जहां है' के आधार पर इसरो को हस्‍तांतरित किया जा रहा है।

 यह N2O4 संयंत्र सामरिक महत्‍व का है क्‍योंकि यह डाई-नाइट्रोजन टेट्रॉक्‍साइड का एकमात्र स्‍वदेशी स्रोत है जिसका इस्‍तेमाल इसरो अपने अंतरिक प्रक्षेपण यानों में तरल रॉकेट प्रोपेलैंट के रूप में करता है।

 वित्तीय निहितार्थ:

इस योजना का वित्तीय निहितार्थ 1,008.67 करोड़ रुपये (नकद) है जिसकी आंशिक भरपाई रसायनी में एचओसीएल की 442 एकड़ भूमि की बिक्री भारत पेट्रोलियम कॉरपोरेशन (618.80 करोड़ रुपये) को करने से की जाएगी जबकि शेष रकम (365.26 करोड़ रुपये) की व्‍यवस्‍था सरकार से ब्रिज लोन के जरिये की जाएगी। इस रकम का इस्‍तेमाल कंपनी की विभिन्‍न देनदारियों को पूरा करने में किया जाएगा जिसमें कर्मचारियों के बकाया वेतन एवं वैधानिक देय राशि का भुगतान और अगस्‍त-सितंबर 2017 में प्रतिदान के लिए 250 करोड़ रुपये के सरकारी गारंटी वाले बॉन्‍डों का पुनर्भुगतान शामिल हैं। ब्रिज लोन और सरकारी के लिए कंपनी की अन्‍य देनदारियों का पुनर्भुगतान रसायनी इकाई की भार रहित शेष भूमि एवं अन्‍य परिसंपत्तियों की बिक्री के जरिये करने का प्रस्‍ताव है।

 प्रभाव:

पुनर्गठन योजना को लागू किए जाने से एचओसीएल अपनी रसायनी इकाई में अव्‍यवहार्य संयंत्रों का परिचालन बंद करने में समर्थ होगी और वह सामरिक रूप से महत्‍वपूर्ण N2O4 संयंत्र इसरो को हस्‍तांतरित कर सकेगी ताकि इसरो के अंतरिक्ष कार्यक्रम के लिए निर्बाध रूप से N2O4 का विनिर्माण और आपूर्ति सुनिश्चित हो सके। कर्मचारियों के कल्‍याण और उनके हितों को ध्‍यान में रखते हुए उनके सभी बकाये वेतन का भुगतान किया जाएगा। भूमि परिसंपत्तियों के निपटान, शुरू में बीपीसीएल को 442 एकड़ भूमि और शेष भार रहित भूमि की बिक्री, से आर्थिक तौर पर उत्‍पादक निवेश में परिसंपत्तियों को लगाने का रास्‍ता साफ होगा और उससे रोजगार के नए अवसर सृजित होंगे।

 

 

***

AKT/VBA/SH/SKC


(रिलीज़ आईडी: 1490214) आगंतुक पटल : 26