गृह मंत्रालय
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केन्द्रीय गृह एवं सहकारिता मंत्री श्री अमित शाह ने आज राजस्थान में 4 लाख करोड़ रुपए के निवेश प्रस्तावों की ग्राउंड ब्रेकिंग का जयपुर में उद्घाटन किया


केन्द्रीय गृह मंत्री ने तीन नए आपराधिक कानूनों पर राज्यस्तरीय प्रदर्शनी और राजस्थान सरकार के विभिन्न विकास कार्यो का लोकार्पण एवं शिलान्यास भी किया

मोदी जी ने Ease of Living के लिए कई परिवर्तन किए हैं, तीन नए आपराधिक कानूनों के पूरी तरह लागू होने के बाद Ease of Justice में बड़ा परिवर्तन आएगा

21वीं शताब्दी का सबसे बड़ा रिफॉर्म भारत के तीन नए आपराधिक कानूनों की शुरुआत है

तीन नए कानून लागू होने के बाद राजस्थान में सजा दिलाने की दर 42% से बढ़कर 60% हो गई है और पूरी तरह लागू होने के बाद यह दर 90% तक पहुंच जाएगी

तीन नए कानून लागू होने के एक वर्ष के भीतर देश में 50% चार्जशीट समय पर दाखिल होने लगी हैं और अगले एक वर्ष में यह दर 90 प्रतिशत तक पहुंच जाएगी

राजस्थान सरकार ने कम समय में ₹35 लाख करोड़ के MoU में से ₹7 लाख करोड़ के MoU को जमीन पर उतारा है

पिछली सरकार ने विद्यार्थियों की यूनिफॉर्म में भ्रष्टाचार किया, जबकि भजनलाल सरकार ने 40 लाख विद्यार्थियों के लिए ₹240 करोड़ रुपये डीबीटी से भेजे

किसान भाइयों से मेरी अपील है कि देश को दलहन और तिलहन के क्षेत्र में आत्मनिर्भर बनाने के लिए इनका उत्पादन बढ़ाएं

नाफेड और NCCF में पंजीकरण के बाद भारत सरकार किसानों की दलहन-तिलहन फसलों को शत प्रतिशत MSP पर खरीदेगी

Posted On: 13 OCT 2025 3:32PM by PIB Delhi

केन्द्रीय गृह एवं सहकारिता मंत्री श्री अमित शाह ने राजस्थान में 4 लाख करोड़ रुपए के निवेश प्रस्तावों की ग्राउंड ब्रेकिंग का आज जयपुर में उद्घाटन किया और तीन नए आपराधिक कानूनों पर राज्यस्तरीय प्रदर्शनी, राजस्थान सरकार के विभिन्न विकास कार्यो का लोकार्पण एवं शिलान्यास किया। इस अवसर पर राजस्थान के मुख्यमंत्री श्री भजनलाल शर्मा और केन्द्रीय गृह सचिव श्री गोविंद मोहन सहित अनेक गणमान्य व्यक्ति उपस्थित थे।

इस अवसर पर अपने संबोधन में केन्द्रीय गृह एवं सहकारिता मंत्री श्री अमित शाह ने कहा कि आज का कार्यक्रम विकास और न्याय का समन्वय करने वाला कार्यक्रम है। उन्होंने कहा कि आज यहां देश की आपराधिक न्याय प्रणाली में आमूलचूल परिवर्तन करने वाले और संविधान प्रदत्त अधिकारों को देश की जनता को सुलभ तरीके से उपलब्ध कराने वाले तीन नए आपराधिक कानूनों का परिचय कराने वाली एक अत्याधुनिक प्रदर्शनी शुरू हो रही है। उन्होंने कहा कि राजस्थान के विकास को गति देने के लिए राइज़िंग राजस्थान में 35 लाख करोड़ के MOUs में से 3 लाख करोड़ के MOUs ज़मीन पर उतर चुके थे और आज 4 लाख करोड़ के और MOUs का भूमिपूजन हुआ है।

श्री अमित शाह ने कहा कि आपराधिक न्य़ाय प्रणाली से जुड़े सभी लोगों को यह प्रदर्शनी ज़रूर देखनी चाहिए क्योंकि आने वाले दिनों में हमारी आपराधिक न्याय प्रणाली में होने वाले बहुत बड़े परिवर्तनों को इस प्रदर्शनी में बहुत सटीक तरीके से दिखाया गया है। उन्होंने कहा कि इस प्रदर्शनी के माध्यम से लोग जान सकेंगे कि 160 साल पुराने कानूनों को समाप्त कर प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी जी जो तीन नए कानून लाए हैं, उनके पूर्णतः लागू होने के बाद किसी भी एफआईआर में तीन साल में न्याय मिल सकेगा। श्री शाह ने कहा कि नए आपराधिक कानून देश की जनता को समय पर, सुलभ तरीके से न्याय देने का काम करेंगे। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री मोदी जी ने Ease of Living के लिए देश में बहुत सारे परिवर्तन किए हैं और इन नए कानूनों पर अमल के साथ ही Ease of Justice में भी बहुत बड़ा परिवर्तन होगा।

केन्द्रीय गृह मंत्री ने कहा कि तीन नए कानूनों के माध्यम से हमारी आपराधिक न्याय प्रणाली दंड की जगह न्याय से प्रेरित होकर काम करेगी। उन्होंने कहा कि पूरे देश में इन कानूनों का सटीक क्रियान्वयन हो रहा है और भारत सरकार के गृह मंत्रालय के माध्यम से सभी राज्यों को इन कानूनों पर अमल में सहायता और फॉलोअप करने में मार्गदर्शन मिल रहा है। अंग्रेज़ों द्वारा, उनकी संसद में पारित हुए और अंग्रेज़ी शासन को बचाने के लिए बने कानूनों की जगह भारतीयों द्वारा बनाए गए, भारतीय संसद में पारित हुए और भारतीयों को न्याय दिलाने वाले कानूनों की शुरुआत एक ऐतिहासिक बात है।

श्री अमित शाह ने कहा कि इन नए आपराधिक कानूनों में महिलाओं और बच्चों के खिलाफ अपराधों के लिए अलग अध्याय जोड़ा गया है, E-FIR और ज़ीरो FIR का प्रावधान किया गया है, सभी ज़ब्ती की वीडियोग्राफी अनिवार्य की गई है और 7 साल से अधिक सज़ा के प्रावधान वाले अपराधों में फॉरेंसिक जांच को अनिवार्य किया गया है। उन्होंने कहा कि राजस्थान में सज़ा कराने की दर 42 प्रतिशत थी, जो इन कानूनों के अमल में आने के एक ही साल में बढ़कर 60 प्रतिशत हो गई है। उन्होंने विश्वास व्यक्त किया कि इन कानूनों पर पूर्ण अमल होने के बाद यह दर 60 प्रतिशत से बढ़कर 90 प्रतिशत तक हो जाएगी। श्री शाह ने कहा कि इन कानूनों पर सुचारू अमल के लिए 2020 में ही नेशनल फॉरेंसिक साइंस यूनिवर्सिटी बना दी गई थी और देशभर में इसके एफिलिएटिड कॉलेज खोलकर वैज्ञानिक जांच करने वाले युवाओं का एक नया कार्यबल बनाया जा रहा है।

केन्द्रीय गृह एवं सहकारिता मंत्री ने कहा कि नए आपराधिक कानूनों में आतंकवाद, मॉब लिंचिंग, संगठित अपराध और डिजिटल अपराध की व्याख्या हमारी न्यायिक प्रणाली में पहली बार की गई है। उन्होंने कहा कि इन कानूनों में कुल मिलाकर 29 से अधिक जगह पर समयसीमा तय की गई है। उन्होंने कहा कि देश छोड़कर भागे हुए अपराधियों पर उनकी अनुपस्थिति में सज़ा दिलाने के लिए ट्रायल इन एब्सेंशिया का भी प्रावधान किया गया है। श्री शाह ने कहा कि 21वीं शताब्दी का सबसे बड़ा रिफॉर्म भारत के तीन नए आपराधिक कानूनों की शुरुआत है। इन कानूनों पर पूर्ण अमल के बाद हमारी आपराधिक न्याय प्रणाली दुनिया में सबसे आधुनिक आपराधिक न्याय प्रणाली बन जाएगी। उन्होंने कहा कि इन कानूनों के लागू होने के बाद देश में लगभग 50 प्रतिशत चार्जशीट समय पर होने लगी हैं और अगले साल में यह दर 90 प्रतिशत तक पहुंच जाएगी। लाखों पुलिस अधिकारियों, हज़ारों न्यायिक अधिकारियों, FSL अधिकारियों और जेल के कर्मचारियों की ट्रेनिंग का काम भी पूरा कर लिया गया है।

श्री अमित शाह ने कहा कि आज यहां 4 लाख करोड़ के निवेश प्रस्तावों की ग्राउंड ब्रेकिंग सेरेमनी भी हुई है। राजस्थान की भजनलाल शर्मा सरकार ने 35 लाख करोड़ रुपए के MOUs में से 7 लाख करोड़ रुपए के MOUs को ज़मीन पर उतारने का काम किया है। इस उपलब्धि के माध्य़म से अलग अलग प्रकार के प्रोजेक्ट्स राजस्थान के युवाओं के लिए रोज़गार के कई मौके सृजित करेंगे। उन्होंने कहा कि आज यहां 9315 करोड़ रुपए की अलग अलग विकास परियोजनाएं भी शुरू हुई हैं। इसके अलावा आज यहां 40 लाख विद्यार्थियों की यूनिफॉर्म के लिए ₹240 करोड़ रुपए सीधे उनके अभिभावकों के बैंक खातों में सीधे DBT से भेजे गए हैं। श्री शाह ने कहा कि राजस्थान के 5 लाख से अधिक दूध उत्पादकों को दूध उत्पादन बढ़ाने के लिए 364 करोड़ रुपए की सब्सिडी आज यहां दी गई है। इसका अलावा, 150 यूनिट्स फ्री बिजली योजना का लाभ देने के लिए भी आज रजिस्ट्रेशन शुरू हुआ है। उन्होंने कहा कि आज यहां 56 FSL वाहन और अनेक पुलिस वाहनों का भी लोकार्पण हुआ है।

केन्द्रीय गृह मंत्री ने कहा कि मोदी सरकार ने निर्णय लिया है कि जो किसान NAFED और NCCF पर रजिस्ट्रेशन करते हैं, उनके द्वारा उत्पादित शत-प्रतिशत तूर, मसूर और उड़द न्यूनतम समर्थन मूल्य (MSP) पर खरीदी जाएगी। उन्होंने कहा कि राजस्थान में उड़द की खेती होती है, तूर की खेती भी हो सकती है और राज्य के किसानों को NAFED और NCCF से रजिस्ट्रेशन कराना चाहिए, जिसके बाद उनका शत प्रतिशत दलहन भारत सरकार MSP पर खरीद लेगी। उन्होंने कहा कि देश को दलहन और तिलहन के क्षेत्र में आत्मनिर्भर बनाने की ज़िम्मेदारी हमारे अन्नदाताओं की है। उन्होंने कहा कि देश को दलहन और तिलहन के क्षेत्र में आत्मनिर्भर बनाने के लिए किसानों को इनका उत्पादन बढ़ाना होगा।

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