पृथ्‍वी विज्ञान मंत्रालय
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संसद का प्रश्न: बहुधात्विक नोड्यूल्स की क्षमता का दोहन

प्रविष्टि तिथि: 11 DEC 2025 4:42PM by PIB Delhi

पृथ्वी विज्ञान मंत्रालय, संयुक्त राष्ट्र के समुद्री कानून सम्मेलन के अंतर्गत संयुक्त राष्ट्र निकाय, अंतर्राष्ट्रीय समुद्री तल प्राधिकरण (आईएसए) के साथ हस्ताक्षरित अनुबंधों के आधार पर, हिंद महासागर में राष्ट्रीय क्षेत्राधिकार से परे केवल बहुधात्विक पिंडों (नोड्यूल्स) और बहुधात्विक सल्फाइड जैसे समुद्री तल खनिजों की खोज सम्‍बंधी गतिविधियां संचालित कर रहा है। पृथ्वी विज्ञान मंत्रालय के अधीन स्वायत्त संस्थान- राष्ट्रीय महासागर प्रौद्योगिकी संस्थान (एनआईओटी) ने 5500 मीटर तक की गहराई से बहुधात्विक पिंडों के सतत दोहन के उद्देश्य से गहरे समुद्र तल खनन प्रणाली का डिज़ाइन तैयार किया है। दूरस्थ स्थान से संचालित पनडुब्बी (आरओएसयूबी 6000) और इन-सीटू मृदा परीक्षण उपकरण भी विकसित किया गया है। एनआईओटी ने मत्स्य 6000 मानवयुक्त पनडुब्बी का भी डिज़ाइन तैयार किया है।

मंत्रालय ने 2002 में हिंद महासागर में आवंटित 75,000 वर्ग किलोमीटर क्षेत्र में बहुधात्विक पिंडों की खोज के लिए अंतर्राष्ट्रीय समुद्री तल प्राधिकरण के साथ अनुबंध पर हस्ताक्षर किए। अन्वेषण गतिविधियां आईएसए द्वारा अनुमोदित कार्य योजना के अनुसार की जाती हैं। इनमें सर्वेक्षण और अन्वेषण, पर्यावरण प्रभाव आकलन, खनन प्रौद्योगिकी का विकास और धातुकर्म प्रक्रिया विकास शामिल हैं।

आईएसए के साथ अनुबंध करने वाले सभी देश अब गहरे समुद्र तल के खनन प्रौद्योगिकी के विकास में लगे हुए हैं। इसके अलावा, सभी देश गहरे समुद्र तल के खनिजों के लिए आईएसए के दोहन नियमों का मसौदा तैयार करने में भी शामिल हैं।

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पीके/केसी केसी /वीके/एसएस


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